आज माननीय उच्च न्यायालय नैनीताल में उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्रियों के सरकारी आवास के बकाएं तथा बिजली पानी के बिल का बकाया संबंधी प्रकरण पर लंबी बहस हुई
4 घंटे तक चली बहस
आज कोर्ट में महाराष्ट्र के राज्यपाल व पूर्व मुख्यमंत्री उत्तराखंड भगत सिंह कोश्यारी के वकील पहुंचे और कहा कि हमें इस मामले पर कुछ भी नहीं कहना है
इसके बाद मुख्य याचिकाकर्ता रूलक संस्था के वकील कार्तिकेय हरि गुप्ता ने अपना पक्ष रखते हुए संविधान के अनुच्छेद 14 में प्राप्त नागरिक समानता का अधिकार का हवाला देते हुए कहा कि यदि पूर्व मुख्यमंत्रियों के बकाया माफ किए जा सकते हैं तो अन्य नागरिकों के क्यों नहीं।
माननीय हाईकोर्ट के समक्ष सुप्रीम कोर्ट के उन निर्देशों का भी हवाला दिया गया जिनके अनुसार उत्तर प्रदेश के ऐसे प्रकरण पर सुप्रीम कोर्ट द्वारा बकाया माफी की अपील को खारिज किया गया था
याचिका पक्ष के वकील ने यह भी कहा कि सरकार द्वारा पूर्व मुख्यमंत्रियों के बकाए माफ करने संबंधी अध्यादेश लाया जाना भी असंवैधानिक है तथा इस अध्यादेश को महामहिम राज्यपाल जी की स्वीकृति मिलना भी लोक हितकारी प्रतीत नहीं होता है।
माननीय उच्च न्यायालय ने निर्देश दिया कि इस मामले में अगली सुनवाई कल प्रातः 11:00 बजे से प्रारंभ होगी।